Class 6 Hindi – वसंत भाग 1 पाठ 3 : नादान दोस्त

पाठ का सार (सरल भाषा में)

इस कहानी में एक नादान (मूर्ख) दोस्त और उसके मित्र की कहानी बताई गई है।
नादान दोस्त अपने मित्र से बहुत प्यार करता है,
लेकिन वह बिना सोचे–समझे काम करता है।

एक दिन वह अपने सोए हुए मित्र के चेहरे पर बैठी मक्खी को मारने के लिए
पत्थर उठा लेता है और जोर से मार देता है।
मक्खी तो उड़ जाती है, लेकिन उसका मित्र मर जाता है

इस कहानी से लेखक हमें यह सिखाता है कि
बुद्धि के बिना किया गया प्रेम भी खतरनाक हो सकता है
सच्चा मित्र वही होता है जो समझदारी से काम करे


📝 प्रश्न–उत्तर (Question–Answer)

प्रश्न 1. नादान दोस्त किसे कहा गया है?

उत्तर:
जो मित्र बिना सोचे–समझे काम करता है, उसे नादान दोस्त कहा गया है।


प्रश्न 2. नादान दोस्त अपने मित्र से कैसा व्यवहार करता था?

उत्तर:
नादान दोस्त अपने मित्र से बहुत प्रेम करता था और उसकी रक्षा करना चाहता था।


प्रश्न 3. नादान दोस्त ने क्या गलती की?

उत्तर:
उसने मक्खी मारने के लिए पत्थर से मित्र के सिर पर वार कर दिया।


प्रश्न 4. नादान दोस्त की गलती का क्या परिणाम हुआ?

उत्तर:
उसकी गलती से उसका मित्र मर गया।


प्रश्न 5. कहानी से हमें क्या शिक्षा मिलती है?

उत्तर:
हमें यह शिक्षा मिलती है कि बिना बुद्धि और सोच के किया गया काम नुकसानदायक होता है।


✍️ शब्दार्थ

  • नादान – मूर्ख, समझहीन

  • मित्र – दोस्त

  • बुद्धि – समझ

  • हानि – नुकसान


परीक्षा के लिए महत्वपूर्ण बिंदु

  • प्रेम के साथ समझदारी जरूरी है

  • मूर्ख मित्र से दूर रहना चाहिए

  • कहानी एक नीति कथा है

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top